Breaking News

ED की जांच में बड़ा खुलासा, सहारा ग्रुप मनी लॉन्ड्रिंग मामले में चार्जशीट दाखिल, करोड़ों की संपत्ति की बिक्री उजागर

सहारा ग्रुप से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस में ED ने बड़ी कार्रवाई की है। सहारा ग्रुप के दो आरोपियों जितेंद्र प्रसाद वर्मा और अनिल विलापरमपिल अब्राहम के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की गई है। जांच में सामने आया है कि सहारा ग्रुप की कई प्रॉपर्टीज़, जो जनता से जमा किए गए पैसों से खरीदी गई थीं, उन्हें गुपचुप तरीके से बेचा जा रहा था। इन सौदों में भारी कैश ट्रांजैक्शन हुए। आरोप है कि जितेंद्र वर्मा और अनिल अब्राहम इन प्रॉपर्टीज़ की बिक्री में अहम भूमिका निभा रहे थे और अन्य लोगों के साथ मिलकर पूरे सौदों को अंजाम दे रहे थे।

डिपॉजिटर्स को रिफंड

सहारा ग्रुप ने मार्च 2025 तक करीब 16138 करोड़ रुपये सहारा-सेबी अकाउंट में जमा किए थे। इस राशि पर ब्याज भी बढ़ता रहा। इसमें से 5000 करोड़ रुपये सेंट्रल रजिस्ट्रार ऑफ कोऑपरेटिव सोसायटीज़ (CRCS) को दिए गए, ताकि सहारा सोसायटीज़ के डिपॉजिटर्स को रिफंड मिल सके।

जुलाई 2023 से रिफंड की प्रक्रिया शुरू हुई और फरवरी 2025 तक 12.97 लाख लोगों को 2314 करोड़ रुपये वापस मिले। जुलाई 2025 तक 27 लाख से अधिक डिपॉजिटर्स को 5000 करोड़ रुपये का रिफंड मिल चुका था। सहारा सोसायटीज़ ने 14000 करोड़ रुपये से ज्यादा के क्लेम्स भी वेरीफाई किए हैं। हाल ही में CRCS को और 5000 करोड़ रुपये जारी किए गए हैं, ताकि और डिपॉजिटर्स को उनका पैसा लौटाया जा सके। आगे कोशिश है कि सहारा-सेबी अकाउंट में मौजूद बाकी 19533 करोड़ रुपये भी जल्द वापस किए जा सकें।

ED की जांच के खुलासे

जांच में पता चला है कि सहारा ग्रुप लंबे समय से एक तरह की पोन्ज़ी स्कीम चला रहा था। हजारों एफआईआर दर्ज हैं, जिनमें 500 से ज्यादा केस अलग-अलग राज्यों में दर्ज हुए। इनमें से 300 से ज्यादा केस पीएमएलए के तहत आते हैं। आरोप है कि सहारा ग्रुप ने लोगों को बार-बार री-डिपॉजिट करने के लिए मजबूर किया, मैच्योरिटी पर पैसा नहीं लौटाया और खातों में हेरफेर की। एक कंपनी से दूसरी कंपनी में फर्जी तरीके से कर्ज ट्रांसफर किए गए और अंततः चार कोऑपरेटिव सोसायटीज़ पर भारी कर्ज डाल दिया गया।

बेनामी प्रॉपर्टीज़ और विदेशों में फंड्स

ED की जांच में यह भी खुलासा हुआ कि डिपॉजिटर्स के पैसों से बेनामी प्रॉपर्टीज़ खरीदी गईं। इन पैसों का निजी इस्तेमाल किया गया और कुछ फंड्स विदेश भी भेजे गए। अब तक ED चार अटैचमेंट ऑर्डर निकाल चुकी है, जिनमें सहारा ग्रुप की बेनामी जमीनें और कुछ व्यक्तियों की संपत्तियां जब्त की गई हैं। वर्तमान में जितेंद्र प्रसाद वर्मा और अनिल अब्राहम न्यायिक हिरासत में हैं। साथ ही सहारा ग्रुप के वरिष्ठ अधिकारियों और विदेशों में हुए लेनदेन की जांच अभी जारी है।

About SFT-ADMIN

Check Also

करवा चौथ के बाद इन 5 चीज़ों को डाइट में शामिल करें, ऊर्जा और त्वचा की चमक बनी रहे।

आज यानी 10 अक्टूबर को देशभर में करवाचौथ का त्योहार मनाया जा रहा है। इस …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *