नागेश्वर नाथ मंदिर परिसर का किया जाएगा!विकास, जीर्णोद्धार एवं सौंदर्यीकरण : जिलाधिकारी
सुपर फास्ट टाइम्स
सवाददाता/मोहम्मद अहमद
बाराबंकी!2 जनवरी। ज़िलाधिकारी सत्येंद्र कुमार ने शहर के पौराणिक नागेश्वर नाथ मंदिर परिसर के विकास करने के साथ ही वहां पर पार्किंग स्थल, पूजन सामग्री की दुकानें एवं अन्य आवश्यक सुविधाओं को उपलब्ध कराने के लिए शीघ्र प्रस्ताव प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने कहा कि इस परिसर में जीर्ण अवस्था में निवास कर रहे कुछ शेष लोगों को नियमानुसार आवास के आवंटन का कार्य आज प्रत्येक दशा में पूर्ण कर लिया जाए। ज़िलाधिकारी आज लोक सभागार में इस सम्बंध में आयोजित एक बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में मुख्य विकास अधिकारी एकता सिंह, अपर ज़िलाधिकारी अरुण कुमार सिंह, जिला कोषाधिकारी अमित कुमार सिंह , अध्यक्ष नगर पालिका परिषद नवाबगंज,अधिशासी अधिकारी नगर पालिका परिषद, नवाबगंज एवं नागेश्वर नाथ सेवा समिति के पदाधिकारियों सदस्यों की उपस्थिति में शहर के पौराणिक नागेश्वर नाथ मंदिर परिसर के समुचित विकास हेतु समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। ज़िलाधिकारी ने कहा कि मंदिर परिसर में जो शेष लोग जीर्ण शीर्ण वाले बसेरों में रह रहे हैं, उन्हें कांशीराम आवास आवंटन का कार्य आज ही किया जाए और दस जनवरी तक उन आवासों को ठीक कराकर उनमें उन्हें शिफ्ट करा दिया जाए। ज़िलाधिकारी ने कहा कि परिसर में विद्युत लाइन का कार्य पूरा हो गया है और निःशुल्क योग केंद्र भी संचालित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि परिसर में हनुमान मंदिर और शिव मंदिर के बीच के अतिक्रमण तत्काल हटा दिया जाए और आवश्यक हो तो वहां पर कुछ दुकानें बना कर आवंटित कर दी जाएं। उन्होंने कहा कि पूरे मंदिर परिसर की एक बाउंड्री होनी चाहिए, इस पर कार्यवाही की जाए और एक सम्पूर्ण प्रस्ताव प्रस्तुत किया जाए।
ज़िलाधिकारी सत्येंद्र कुमार ने कहा कि मंदिर परिसर में अवैध कब्जा, जिसका मुकदमा भी नागेश्वर नाथ सेवा समिति जीत चुकी है, उसको फौरन हटवाने की कार्रवाई की जाए और मंदिर के सामने के अवैध निर्माण को भी तत्काल हटाया जाए। ज़िलाधिकारी ने मंदिर परिसर के फाउंनटेन को भी पुन: चलाए जाने के लिए सम्बंधित को निर्देश दिए। अधिशासी अधिकारी, नगर पालिका, नवाबगंज को निर्देश दिए कि वहां पर पार्किंग, रास्ता और अन्य आवश्यक सुविधाएँ उपलब्ध कराने के लिए अपने स्तर से कार्रवाई करें। उन्होंने समिति के सदस्यों से कहा कि मंदिर के पुनर्निर्माण के लिए वे स्वयं अपने स्तर से कार्य करें।