नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर के नए मानक स्थापित करने जा रहा है और फ्यूचर-रेडी टेक्नोलॉजी सिस्टम से लैस होकर डिजिटल कनेक्टिविटी का एक आधुनिक केंद्र बनेगा। यह एयरपोर्ट ड्यूल फाइबर ऑप्टिक नेटवर्क से सज्जित होगा, जिससे डेटा कनेक्टिविटी लगातार और निर्बाध बनी रहेगी।
स्मार्ट और सुरक्षित एयरपोर्ट:
नोएडा एयरपोर्ट पारंपरिक एयरपोर्ट से अलग, एक स्मार्ट डिजिटल नेटवर्क के रूप में तैयार किया जा रहा है। दो स्वतंत्र फाइबर नेटवर्क तकनीकी अड़चनों के बावजूद डेटा प्रवाह सुनिश्चित करेंगे। दो अलग-अलग स्थानों पर स्थापित स्वतंत्र डेटा सेंटर पूरे सिस्टम का डिजिटल हृदय होंगे, जो टर्मिनल, रनवे, पार्किंग और सुरक्षा तंत्र को एकीकृत नेटवर्क से जोड़ेंगे।
रियल-टाइम मॉनिटरिंग:
एयरपोर्ट की हर गतिविधि रियल-टाइम में मॉनिटर और नियंत्रित की जाएगी। वीडियो सर्विलांस सिस्टम एयरपोर्ट के हर कोने पर नजर रखेगा। आगमन और प्रस्थान मार्गों पर लगे लाइसेंस प्लेट रिकग्निशन और ड्राइवर इमेजिंग कैमरे वाहनों की स्मार्ट ट्रैकिंग करेंगे, जिससे सुरक्षा और सुविधा दोनों बढ़ेंगी।
तीन प्रमुख डिजिटल कंट्रोल हब:
एयरपोर्ट ऑपरेशंस सेंटर (AOC): एयरपोर्ट का मस्तिष्क, जहां से हर गतिविधि रियल-टाइम में नियंत्रित होगी।
सिक्योरिटी ऑपरेशंस कंट्रोल सेंटर (SOCC): एयरपोर्ट सुरक्षा पर लगातार नजर रखेगा।
एयरपोर्ट इमरजेंसी ऑपरेशंस सेंटर (AEOC): आपात स्थिति में तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करेगा।
व्यापक वायरलेस कवरेज:
जेवर एयरपोर्ट के डिज़ाइन में वायरलेस नेटवर्क कवरेज पूरे परिसर, रनवे और रिमोट स्टैंड्स तक फैला होगा। यात्रियों और स्टाफ के लिए स्मार्ट डिजिटल एक्सेस और रियल-टाइम सूचना प्रणाली उपलब्ध कराई जाएगी, जिससे सुविधाएं और सुरक्षा दोनों सुनिश्चित होंगी।
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